शेर की शादी : बहुत समय पहले की बात है एक घने जंगल में शेरराज “सिंहराज” राज किया करता था। वह बहुत शक्तिशाली निडर और न्यायप्रिय था पूरा जंगल उसकी गर्जना से कांप उठता था। लेकिन एक दिन जंगल के जानवरों ने देखा कि शेरराज कुछ उदास और चिंतित दिख रहा है।
शेर की उदासी का कारण
हाथी लोमड़ी बंदर और हिरण उसके पास आए और बोले “महाराज आप इतने दुखी क्यों हैं? क्या कोई समस्या है?” शेरराज ने गहरी सांस लेते हुए कहा “अब समय आ गया है कि मैं शादी कर लूँ लेकिन मैं नहीं जानता कि मेरी रानी कौन बनेगी।”
शेर के लिए दुल्हन की खोज
पूरा जंगल इस समाचार से खुश हो गया और शेरराज के लिए एक उपयुक्त रानी की खोज शुरू हो गई। कई जानवरों ने अपने सुझाव दिए कोई बोला कि जंगल की सबसे सुंदर हिरणी होनी चाहिए कोई कहता कि ताकतवर भालूनी ठीक रहेगी तो कोई कहता कि चालाक लोमड़ी होनी चाहिए। परन्तु शेरराज को इनमें से कोई पसंद नहीं आया। तब एक वृद्ध कछुआ आगे आया और बोला “महाराज, आपको अपनी ही जाति की एक योग्य और शक्तिशाली शेरनी से विवाह करना चाहिए।” शेरराज को यह सलाह पसंद आई और उसने जंगल की सबसे बहादुर और बुद्धिमान शेरनी “सिंहलता” को अपनी रानी बनाने का निर्णय लिया।
शादी की तैयारी
पूरा जंगल शादी की तैयारियों में जुट गया। हाथी ने फूलों से जंगल को सजाया बंदरों ने पेड़ों पर रंग बिरंगे बेलें लटकाईं तोते और कोयल ने मिलकर संगीत तैयार किया। सभी जानवर नए कपड़े पहनकर आए और जंगल में भव्य समारोह हुआ। शेरराज और शेरनी सिंहलता की शादी बड़े धूमधाम से हुई। जंगल में दावत रखी गई जिसमें सभी जानवरों ने मिलकर नाच गाना किया और खूब आनंद उठाया।
शिक्षा:
सही जीवनसाथी का चुनाव बहुत सोच-समझकर करना चाहिए, और शादी का असली आनंद तब होता है जब पूरे परिवार और दोस्तों का आशीर्वाद साथ हो।